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Sach Ke Sath

धार। धड़ल्ले से क्लीनिक की आड़ में मरीजों को भर्ती करके इलाज कर रहे डॉक्टर बागडे। नियमानुसार सरकारी डॉक्टर स्वयं के या किसी और के क्लीनिक पर काम नहीं कर सकता हैं। बावजूद इसके सरकारी डॉक्टर नीरज बागडे खुलेआम क्लीनिक के आड़ में महिला मरीजों को भर्ती करके इलाज कर रहे हैं या यूं कहे की एक छोटा अस्पताल संचालित कर रहे हैं।

उक्त हॉस्पिटल में किसी भी प्रकार की मान्यता या रजिस्ट्रेशन नहीं है। सबसे बड़ी बात यह है कि मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय के मुख्य मार्ग पर ही अवैध रूप से अस्पताल संचालित हो रहा है।

इतना ही नहीं इस अवैध रूप से संचालित हॉस्पिटल में व्यवसायिक भवन का कर भी नहीं चुकाया जा रहा है। उक्त भवन का कर ना ही नगर पालिका को चुकाया गया है नई राजस्व विभाग को इस प्रकार से इस सरकारी डॉक्टर द्वारा सरकार से हजारों रुपए के राजस्व के भी चोरी की जा रही है।

इतना ही नहीं क्लीनिक एवं मेडिकल दुकान संचालित दोनों भाई सिर्फ मेडिकल दुकान के प्रमाण पत्रों के आधार पर क्लीनिक और अस्पताल संचालित कर रहे हैं।

मेडिकल दुकान अभिमन्यु बागडे के नाम से संचालित है। जहां पर सिर्फ और सिर्फ अभिमन्यु बागडे का ही उल्लेख किया गया है। पर वहां पर अधिकतर समय में लड़कियां ही बैठी रहती है और वही मेडिकल से मेडिसिन बेचती रहती है। 

संपादक- श्री कमल गिरी गोस्वामी

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